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प्रतीकात्मक तस्वीर

देश में कोरोना के बढ़ते मामलों के बीच केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा कि अधिकतर मामलों में मरीज का इलाज घर पर ही हो जा रहा है। इसके साथ ही कहा गया है कि राष्ट्रीय IHR फोकल पॉइंट्स से मिली जानकारी के अनुसार कोरोना का नया वैरिएंट पुराने वैरिएंट से ज्यादा संक्रामक नहीं है और न ही यह ज्यादा गंभीर बीमारियों का कारण बनता है। स्वास्थ्य मंत्रालय ने कोरोना को लेकर किसी भी तरह की गाइडलाइन नहीं जारी की है।

केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव ने 24 मई को सचिव, स्वास्थ्य अनुसंधान विभाग (डीएचआर) और महानिदेशक, भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर), डीजीएचएस, राष्ट्रीय रोग नियंत्रण केंद्र (एनसीडीसी) और अन्य अधिकारियों के साथ कोविड-19 मामलों से संबंधित मामले की समीक्षा की। इसके बाद आम लोगों को इसकी सूचना दी गई।

मंत्रालय ने क्या बताया

  • स्वास्थ्य मंत्रालय की तरफ से जारी प्रेस रिलीज में कहा गया कि कोविड-19 के कुछ मामले मुख्य रूप से केरल, तमिलनाडु, महाराष्ट्र, कर्नाटक आदि राज्यों से सामने आए हैं। हालांकि, अधिकांश मामलों में मरीज को सामान्य लक्षण हैं और उनकी देखभाल घर में ही हो रही है। मंत्रालय ने बताया कि देश में एकीकृत रोग निगरानी कार्यक्रम (आईडीएसपी) और आईसीएमआर के अखिल भारतीय श्वसन वायरस प्रहरी निगरानी नेटवर्क के जरिए कोविड-19 सहित श्वसन संबंधी बीमारियों की निगरानी के लिए एक मजबूत अखिल भारतीय प्रणाली है। 
  • स्वास्थ्य मंत्रालय की तरफ से कहा गया है कि हाल के दिनों में सिंगापुर, हांगकांग और अन्य देशों में कोविड 19 मामलों में वृद्धि के बारे में कुछ मीडिया रिपोर्टें आई हैं। संबंधित राष्ट्रीय IHR फोकल पॉइंट्स से यह पता लगाया गया है कि ऐसा कोई संकेत नहीं है कि नया वेरिएंट पहले से मौजूद वेरिएंट की तुलना में अधिक संक्रामक हैं या अधिक गंभीर बीमारी का कारण बनता है।

महाराष्ट्र में एक युवक की मौत

ठाणे के छत्रपति शिवाजी महाराज कलवा अस्पताल में कोरोना से संक्रमित 21 साल के युवक की मौत हो गई। वह मुंब्रा का रहने वाला था और कोरोना संक्रमित होने के बाद 22 मई को उसे अस्पताल में भर्ती कराया गया था। इलाज के दौरान 24 मई को उसकी मौत हो गई। 

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