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केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार संसद के आगामी बजट सत्र में नौकरीपेशा लोगों को बड़ी राहत दे सकती है। दरअसल, सकरार एक नया आयकर विधेयक पेश करने के मूड में है, जिसका मकसद वर्तमान आयकर कानून को सरल बनाना, उसे समझने योग्य बनाना तथा पृष्ठों की संख्या में लगभग 60 प्रतिशत की कमी करना है। यह टैक्सपेयर्स के लिए राहत की बात होगी क्योंकि वह इससे जुड़े पहलुओं को आसानी से समझ सकेंगे।

क्या है योजना

न्यूज एजेंसी पीटीआई के एक सूत्र ने कहा- नया आयकर कानून संसद के बजट सत्र में पेश किया जाएगा। यह एक नया कानून होगा, न कि मौजूदा कानून में संशोधन। वर्तमान में, कानून के मसौदे पर विधि मंत्रालय विचार कर रहा है और बजट सत्र के दूसरे भाग में इसे संसद में पेश किया जा सकता है।

समिति का हुआ था गठन

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने जुलाई के बजट में छह महीने के भीतर 6 दशक पुराने आयकर अधिनियम, 1961 की व्यापक समीक्षा की घोषणा की थी। आयकर अधिनियम, 1961 की व्यापक समीक्षा के लिए सीतारमण द्वारा बजट घोषणा के बाद सीबीडीटी ने समीक्षा की देखरेख करने और अधिनियम को संक्षिप्त, स्पष्ट और समझने में आसान बनाने के लिए एक आंतरिक समिति का गठन किया था। इससे विवाद, मुकदमेबाजी कम होगी और करदाताओं को अधिक कर निश्चितता मिलेगी। इसके अलावा, अधिनियम के विभिन्न पहलुओं की समीक्षा के लिए 22 विशेष उप-समितियां स्थापित की गई हैं।

कब से शुरू हो रहा बजट सत्र?

बजट सत्र 31 जनवरी से चार अप्रैल तक चलेगा। पहला भाग (31 जनवरी-13 फरवरी) राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू के लोकसभा और राज्य सभा के संयुक्त अधिवेशन को संबोधित करने के साथ शुरू होगा, जिसके बाद 2024-25 के लिए आर्थिक सर्वेक्षण पेश किया जाएगा। वित्त वर्ष 2025-26 के लिए केंद्रीय बजट एक फरवरी को पेश किया जाएगा। संसद 10 मार्च को पुनः आरंभ होगी और चार अप्रैल तक चलेगी।

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