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नई दिल्ली. पुराने दौर में हीरोइनों के बड़े-बड़े जूड़े,उनके चूड़ीदार सूट और आंखों का बड़ा-बड़ा कजरा मुमताज, शर्मिला टैगोर या कहे कि मीना कुमार, नंदा हर एक्ट्रेस एक जैसी ही लगती थीं. फिर एक ऐसी हसीना ने एंट्री मारी, जिसने अपनी माथे पर आती लटों को जब फूंक मारकर उड़ाया तो लड़कियां भी उनके फैशन की मुरीद हो गईं. सुनील दत्त के साथ कई हिट दे चुकीं ये ट्रेंड सेटर एक्ट्रेस कोई और नहीं साधना थीं.
साधना के गजब के फैशनेबल हेयर स्टाइल की वजह से नाम तक दे दिया गया था ‘साधना कट’. साधना उस दौर की ट्रेंड सेटर बनी थीं. फैशन की उन्होंने अनोखी दास्तां लिख डाली थी.एक तरफ जहां नीतू कपूर से लेकर शर्मिला टैगोर और आशा पारेख जैसी एक्ट्रेसेस के जलवे थे, वहीं साधना भी अपने चार्म से लोगों का दिल जीत रही थीं. साधना की अदाओं और खूबसूरती के साथ-साथ लोग उनके हेयरस्टाइल के भी दीवाने थे.
60-70 के दशक में बड़ी-बड़ी एक्ट्रेस को देती थीं टक्कर
साधना शिवदासानी उस दौर की खूबसूरत एक्ट्रेसेस में से एक थीं. कई फिल्मों में मिस्ट्री वुमन को रोल प्ले करने की वजह से उन्हें द मिस्ट्री गर्ल कहा जाने लगा था. खासतौर पर उस दौर में मधुबाला और बैजयंती माला की खूबसूरती के चर्चे हुआ करते थे. लेकिन साधना ने अपनी बला की खूबसूरती के चलते इन दो हसीनाओं को भी टक्कर दे डाली थी.
कालेज में मिला था पहला ब्रेक
एक्टिंग की दुनिया में आने से पहले साधना मुंबई के जय हिंद कॉलेज में पढ़ रही थी.उन्होंने राज कपूर की 1955 में आई फिल्म श्री 420 में एक कैमियो किया था. 1960 में आई फिल्म लव इन शिमला से वह मशहूर हो गईं. साधना असली नकली और मेरे महबूब, वक्त, मेरा साया और एक फूल दो माली जैसी फिल्मों से स्टार बन गई थीं. वह 1960 से 1970 के दशक की शुरुआत तक सबसे ज्यादा फीस पाने वाली एक्ट्रेस थीं.कॉलेज के दिनों में एक प्रोड्यूसर की नजर उन पर पड़ी उन्होंने उन्हें अपनी फिल्म में ब्रेक दिया था.
राज कपूर से करती थीं नफरत
साधना ने अपने दौर में हर बड़े स्टार के साथ काम किया था.एक बार उन्होंने निर्माता-निर्देशक राज कपूर के साथ फिल्म ‘दुल्हा दुल्हनट में काम किया था, जो साल 1966 में आई थी. इसी फिल्मकी शूटिंग के दौरान राज कपूर और साधना की जुबानी जंग हुई थी. राज कपूर को उनका बार-बार मेरे बाल सही करने और परफेक्ट लुक के चक्कर में रिटेक्स देने से चिढ़ थी. एक बार उन्होंने गुस्से में कहा कि ‘एक एक्ट्रेस को कैमरे के सामने इमोशन देना चाहिए, न कि हर वक्त शीशा देखकर बाल सेट करने चाहिए. एक्ट्रेस ने कहा था कि मैं जैसी दिखूंगी, वैसा ही परफॉर्म कर पाऊंगी. इसके बाद से साधना उनसे नफरत करने लगी थीं.
उस दौर की ट्रेंड सेटर बनी थीं साधना
बहने के श्राप से बर्बाद हो गई थी जिंदगी
बबीता और साधना चचेरी बहन हैं, बबीता ने जब एक्टिंग शुरू की तो वह रणधीर कपूर को पसंद करने लगी थीं, लेकिन राज कपूर को पसंद नहीं था कि उनके घर की कोई बहू फिल्मों में काम करें, उन्होंने साधना को बुलाकर कहा कि वह अपनी बहन को समझाए कि वह दो सपने एक साथ नहीं देख सकती. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, साधना बबीता को अपने बच्चे की तरह मानती थीं.उन्होंने कहा भी कि मैं तुम्हें अपने बच्चे की तरह मानती हूं, वह रणधीर से शादी का ख्याल छोड़ दें.लेकिन बबीता ने उन्हें गुस्से में कह दिया था कि बच्चा मानकर ये सब बातें कर रही हैं,कहीं ऐसा ना हो कि एक दिन आप बच्चों के लिए तरस जाए. उनका ये श्राप सच हुआ और डायरेक्टर आरके नय्यर से शादी के बाद भी साधन ताउम्र बच्चे के लिए तरसती रही, ताउम्र उनकी गोद सुनी ही रही.
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