Source :- NEWS18
Last Updated:May 24, 2025, 19:34 IST
Bollywood Actress Zaheeda Hussain : जाहीदा हुसैन फिल्मी परिवार से ताल्लुक रखती थी, तो ऐसे में उनका एक्ट्रेस बनना कोई बड़ी बात नहीं थी. करियर की शुरुआत में ही उन्होंने अपने काम से मेकर्स का दिल जीत लिया था. लेकि…और पढ़ें
1 ना ने बर्बाद कर दिया करियर
हाइलाइट्स
- जाहिदा हुसैन ने देवानंद के लिए कई बड़ी फिल्में ठुकराईं.
- जीनत अमान को ‘हरे रामा हरे कृष्णा’ से स्टार बनाया.
- हेमा मालिनी को ‘लाल पत्थर’ से बड़ी पहचान मिली.
नई दिल्ली. साल 1971 में आई डायरेक्टर अमरजीत की ‘गैम्बलर’ में देव आनन्द, शत्रुघ्न सिन्हा के साथ नजर आई टॉप एक्ट्रेस जाहिदा हुसैन ने अपने दौर में कई हिट दी थी. खासतौर पर इस फिल्म का उनका गाना ‘चूड़ी नहीं है ये मेरा दिल है’ तो आज भी लोगों की जुबां पर चढ़ा हुआ है. देवानंद और जहीदा की जोड़ी को इस फिल्म की वजह से काफी पसंद किया जाने लगा था.एक्ट्रेस का नरगिस से भी खास कनेक्शन है.
60-70 के दौर में देवानंद का कोई सानी नहीं था. जीनत हो, मुमताज हो या वहीदा रहमान हर एक्ट्रेस के साथ उनकी जोड़ी हिट हुआ करती थीं. उनके साथ काम करने के लिए एक्ट्रेस तरसा करती थीं. लेकिन जाहिदा ने तो उनके साथ एक फिल्म में ऐसा काम किया, वह दोबारा किसी और के साथ काम ही नहीं कर पाई. सिर्फ देवानंद के साथ के लिए उन्होंने अपना करियर भी दांव पर लगा दिया था.
देवानंद के प्यार में बर्बाद किया करियर
जाहिदा एक वक्त के बाद मेकर्स की डिमांड बन गई थी. लेकिन देवानंद संग काम करने के बाद वह उनके इतना करीब आ गई थीं कि वह किसी और के साथ काम ही नहीं करना चाहती थीं. देवानंद ने ही बॉलीवुड में उन्हें पहला मौका दिया था. इसलिए जाहिदा के कई बार उनका नाम भी जोड़ा गया. कहा जाता है कि जाहिदा देवानंद से एक तरफा प्यार किया करती थीं. वह किसी दूसरे हीरो के साथ रोमांस ही नहीं करना चाहती थी. यह वजह रही है कि उन्होंने अपने करियर में कई बड़ी फिल्मों को ठुकरा दिया था.
देवानंद से करती थी, एकतरफा प्यार
जीनत अमान को बनाया स्टार
आईएमबीडी की रिपोर्ट् के मुताबिक फिल्म ‘हरे रामा हरे कृष्णा’ में जीनत अमान का किरदार पहले उन्हें ही ऑफर किया गया था. लेकिन वर देवानंद की बहन नहीं बनना चाहती थीं और उन्होंने बिना सोचे समझे इस बड़ी फिल्म को रिजेक्ट कर दिया था. ‘हरे रामा हरे कृष्णा’ में बाद में जीनत नजर आई थीं और इसी फिल्म ने उन्हें सुपरस्टार बनाया था.
बता दें कि 1971 में निर्देशन सुशील मजूमदार फिल्म ‘लाल पत्थर’ लेकर आए थे. इस फिल्म का निर्माण एफसी मेहरा ने किया था. जब फिल्म के डायरेक्टर जायदा के पास ये ऑफर लेकर गए तो उन्होंने ये ऑफर रिजेक्ट कर दिया था. उन्होंने कहा था कि फिल्म के एक सीन में राजकुमार अपना कुत्ता एक्ट्रेस पर छोड़ना था और उन्हें कुत्तों से डर लगता है, इसलिए वह ये रोल रिजेक्ट कर रही हैं. इस फिल्म में बाद में हेमा मालिनी नजर आई थीं, इस फिल्म से हेमा को बड़ी पहचान मिली थी. इस फिल्म के बाद उन्होंने कई और बड़ी फिल्मों को रिजेक्ट किया और इसके बाद तो उनका करियर बर्बाद होता चला गया.
जीजा ने कहा कि हरे रामा में देवानंद की बहन बनोगी तुम्हारी जोड़ी तो देवानंद के साथ हिट है, लोग इसे स्वीकर नहीं करेंगे, फिल्म हिट नहीं होगी. उन्होंने ये सुनकर फिल्म ठुकरा दी बाद में इसी फिल्म ने जीनत अमान को स्टार बना दिया था. शायद वो ये फिल्म कर लेती तो उनका करियर बच सकता था.भूले बिसरे नगमे नामक पोस्ट में इस बात का खुलासा किया गया है.
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