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अमेरिका में जो बाइडेन का कार्यकाल खत्म होने में ज्यादा वक्त नहीं बचा है। इसके बाद डोनाल्ड ट्रंप यह जिम्मेदारी संभालेंगे। इस बीच विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने एक आशंका जताई है। ब्लिंकन को इस बात का डर सता रहा है कि ट्रंप प्रशासन आने वाले दिनों में प्रेसीडेंट बाइडेन द्वारा शुरू की गई प्रमुख विदेश नीतियों को खत्म कर सकता है। इन विदेश नीतियों में मिडिल ईस्ट और यूक्रेन को लेकर कुछ नई शुरुआत की गई थी। गौरतलब है कि डोनाल्ड ट्रंप 20 जनवरी को अमेरिका के नए राष्ट्रपति के रूप में पदभार ग्रहण करेंगे।

ब्लिंकन ने कहाकि चिंतित होने के लिए पर्याप्त वजहें हैं। उन्होंने कहाकि पिछली बार जब हम सत्ता में आए, तो हमें विरासत में ऐसी साझेदारियां और संबंध मिले जो गंभीर रूप से खराब हो गए थे। उन्होंने कहाकि अब हमने गाजा में युद्ध खत्म करने के लिए प्रयास किए हैं। यूक्रेन में भी हमारी कोशिशें बेहतर करने की रही हैं। लेकिन अगर ट्रंप प्रशासन पुरानी परिपाटी पर कायम रही तो चीजें फिर से बिखर सकती हैं। ब्लिंकन ने कहा कि मुझे नहीं पता कि वे चीजों को कैसे देखते हैं। लेकिन मेरा मानना है कि आने वाले समय में हमारी परंपरा को कायम रखा जाए।

फॉरेन पॉलिसी पर क्या सोचते हैं ट्रंप
नवनिर्वाचित राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प को एशिया-प्रशांत में नाटो और रक्षा साझेदारी सहित अमेरिकी गठबंधनों पर संदेह है। पिछले चार साल में बाइडेन की टीम ने इन सभी से उबरने पर काम किया है। ट्रंप यूक्रेन को दी जाने वाली अमेरिकी सैन्य सहायता की भी आलोचना करते रहे हैं। उन्होंने रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन की प्रशंसा की है। हालांकि इजरायल और हमास के बीच संघर्ष विराम को लेकर दोनों एकमत दिखाई देते हैं। हाल ही में बाइडेन और ट्रंप, दोनों ने इसका क्रेडिट लेने की कोशिश की।

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